श्री चौहान का यह बयान स्पष्ट करता है कि मध्यप्रदेश भाजपा ने लालकृष्ण आडवाणी को अब त्याग दिया हैं सिर्फ बयान तक ही मामला सीमित नहीं है। जब जिला ईकाइयों के अध्यक्षों और महासचिवों का सम्मेलन हो रहा था, तो वहां लगाए गए पोस्टरों से भी आडवाणी गायब थे। गौरतलब है कि आडवाणी को मध्यप्रदेश में भारी समर्थन मिलता था। खासकर मुख्यमंत्री चैहान उनका बहुत सम्मान करते थे। सरकार के महत्वपूर्ण कार्यक्रमों में भी मुख्यमंत्री आडवाणी को मुख्य अतिथि के रूप में बुलाया करते थे। आडवाणी भी चैहान के ऊपर तारीफों की वारिश कर दिया करते थे। पिछले दिनों एक कार्यक्रम में आडवाणी ने नरेन्द्र मोदी से भी बेहतर मुख्यमंत्री और प्रशासक आडवाणी ने चैहान को घोषित कर दिया था। जिस दिन नरेन्द्र मोदी को भाजपा चुनाव समिति का चेयरमैन घोषित किया गया, उस दिन मध्यप्रदेश में शायद ही कोई उत्सव मनाया गया हो। भोपाल का भाजपा मुख्यालय भी सूना सूना था। मीडिया में इसकी खूब चर्चा भी हुई थी।

गौर करने की बात यह है कि नरेन्द्र मोदी को समर्थन मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री की ओर से नहीं, बल्कि मध्यप्रदेश के भाजपा अध्यक्ष की ओर से आया है। इसका मतलब है कि क्या मुख्यमंत्री और पार्टी अध्यक्ष के बीच मतभेद पैदा हो गए हैं?

जिस दिन नरेन्द्र सिंह तोमर ने नरेन्द्र मोदी के समर्थन की घोषणा की, उसी दिन एक पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर ने श्री मोदी की तुलना सरदार पटेल से कर डाली। यह सबको पता है कि बाबूलाल गौर और मुख्समंत्री चैहान के बीच 36 का आंकड़ा है। जाहिर है बाबूलाल गौर मोदी की तुलना सरदार से पटेल कर मुख्यमंत्री चैहान को चिढ़ाने का काम कर रहे थे। जब उनसे पूछा गया कि मोदी और चैहान के बीच में भी तुलना की जा रही और इसके बारे में आप अपनी राय बताइये, तो श्री गौर ने कहा कि दो व्यक्तियों के बीच इस तरह की तुलना किया जाना गलत है। सबके काम करने की अपनी शैली होती है और सबका अलग अलग व्यक्तित्व होता है। उन्होंने कहा कि दो अलग अलग किस्म के लोगों के बीच तुलना करना बिल्कुल ही गलत है।

प्रदेश भाजपा के संगठन सचिव अरविंद मेनन ने चैहान और मोदी के बीच का एक रास्ता निकाला है, जिसमें दोनों को महत्व दिया जा रहा है। उन्होने नारा गढ़ा है, ’’ओम नमो शिवाय’’। उनका कहना है कि इस नारे से मध्यप्रदेश में भाजपा लगातार तीसरी बार सत्ता में आ जाएगी। वे कहते हैं कि इस मंत्र में ओम भाजपा का कार्यकत्र्ता है। नमो नरेन्द्र मोदी हैं और शिवाय शिवराज सिंह चैहान हैं। मुख्यमंत्री चैहान की उपस्थिति में श्री मेनन ने यह नारा गढ़ा।

एक तरफ जहां अरविंद मेनन ने चैहान और मोदी को एक धरातल पर रखा, वहीं मध्यप्रदेश भाजपा की पत्रिका ’’कमल संदेश’’ ने नरेन्द्र मोदी का जबर्दस्त समर्थन किया। यह पत्रिका प्रभात झा द्वारा संपादित की जाती है। श्री झा कुछ समय पहले प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष हुआ करते थे। श्री चैहान के कारण ही उनका उस पद से हटाया गया था और उनकी जगह नरेन्द्र ंिसंह तोमर को मिल गई थी। इस समय श्री झा भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष हैं। पत्रिका ने नरेन्द्र मोदी को अभियान समिति का अध्यक्ष बनाए जाने का स्वागत किया है और इस बात के लिए पार्टी की आलोचना की है कि प्रधानमंत्री के उम्मीदवार की उसने घोषणा नहीं की।

जाहिर है मध्यप्रदेश के वर्तमान अध्यक्ष श्री तोमर, पूर्व अध्यक्ष श्री झा और पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर द्वारा नरेन्द्र मोदी को मिल रहा समर्थन एक दूसरे से अलग अलग होने के बावजूद चैहान को छोटा बनाने का प्रयास है। दूसरी तरफ उमा भारती से जुड़ी घटनाएं भी चैहान के लिए चिंता का कारण बन गई है। उनका प्रदेश में जगह जगह स्वागत किया जा रहा है। एक सभा में उन्हें सिक्के से तौला गया, तो एक अन्य सभा में पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर ने उनकी खुलकर प्रशंसा की। (संवाद)