हालांकि प्रदेश कांग्रेस कमिटी ने श्री थरूर के खिलाफ उचित कार्रवाई करने की मांग की है और किस तरह की कार्रवाई की जानी चाहिए, उसका उल्लेख नहीं किया गया है। अब केरल प्रदेश कांग्रेस कमिटी ने गेंद केन्द्रीय नेतृत्व के पाले में डाल दिया है।
उसका कहना है कि श्री थरूर न केवल कांग्रेस के एक सांसद हैं, बल्कि वे पार्टी के प्रवक्ता भी हैं। श्री थरूर पर आरोप लगाया गया है कि वे पिछले कुछ सालों से एक के बाद एक विवादों को पैदा कर रहे हैं।
थरूर ने नरेन्द्र मोदी की प्रशंसा उनके स्वच्छ भारत अभियान पर की। सच कहा जाय तो प्रधानमंत्री बनने के बाद ही वे मोदी की लगातार प्रशंसा कर रहे हैं, जिसके कारण कांग्रेस में भ्रम की स्थिति पैदा हो रही है और केरल के कांग्रेसी हतोत्साह हो रहे हैं। लोकसभा की हार से सदमे में आई कांग्रेस इसका कारण उबरने में दिक्कतों का सामना कर रही है।
इस प्रकरण में सबसे विचित्र बात यह है कि प्रदेश कांग्रेस कमिटी ने सीधे शशि थरूर के खिलाफ केन्द्र से कार्रवाई का अनुरोध कर डाला। उसके पहले थरूर से सफाई मांगने की जरूरत भी नहीं समझी। यह सच है कि प्रदेश के भिन्न भिन्न गुटों के नेताओं से संपर्क किया गया और उनकी राय मांगी गई। उसके लिए कुछ बैठकें भी हुईं, लेकिन किसी में भी खुद थरूर को नहीं बुलाया गया।
इसके कारण धारणा बन रही है कि थरूर के खिलाफ जरूरत से ज्यादा प्रतिक्रिया हुई। बेहतर होता कि मुख्यमंत्री चांडी और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुधीरन पहले थरूर को बुलाकर उनसे बातचीत करते और उनका पक्ष लेते। लेकिन नहीं किया गया।
सच तो यह है कि कांग्रेस के नेता शशि थरूर की प्रगति से आहत हैं। वे विदेश से भारत आकर केरल में छा गए। आलाकमान के वे पसंदीदा नेता हैं। तिरुअनंतपुरम से वे दुबारा सांसद चुन लिए गए हैं। वे केेन्द्र में मंत्री रहे। एक विवाद के कारण उनका मंत्री पद भी चला गया था, पर वे दुबारा फिर मंत्री बना दिए गए थे। यही कारण है कि अब प्रदेश कांग्रेस के नेता उनको जमीन दिखान पर तुले हुए हैं।
नरेन्द्र मोदी की थरूर द्वारा की गई प्रशंसा तो महज बहाना है। ये नेता उनके खिलाफ अपनी भड़ास निकालने पर तुले हुए हैं। (संवाद)
भारत
कांग्रेस का थरूर संकट
प्रदेश कांग्रेस की प्रतिक्रिया अनावश्यक
पी श्रीकुमारन - 2014-10-11 16:36
तिरुअनंतपुरमः कांग्रेस नेता शशि थरूर के खिलाफ कार्रवाई करने का प्रस्ताव प्रदेश कांग्रेस कमिटी की ओर से किया गया एक ऐसा फैसला है, जिसकी कोई जरूरत अभी नहीं थी। गौरतलब हो कि शशि थरूर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की तारीफ करने लगे थे और उसके बाद केरल प्रदेश कांग्रेस कमिटी के नेता उनकी आलोचना पर उतर आए। इतना ही नहीं, उन्होंने कांग्रेस के आलाकमान से उनके खिलाफ कार्रवाई करने की मांग भी कर दी है।