मोहन सिंह कथित रूप से समाजवादी विचारधारा से जुड़े नेता माने जाते हैं। वे अमर सिंह के पहले से ही समाजवादी पार्टी के सदस्य रहे हैं। अमर सिंह की तरह वे भी ठाकुर हैं, लेकिन उनकी अमर से कभी नहीं पटी। अमर सिंह के अनेक विरोधी तो पार्टी छोड़कर बाहर चले गए अथवा अमर के वर्चस्व को स्वीकार कर लिया, पर मोहन सिंह ने न तो पार्टी छोड़ी और न ही कभी अमर सिंह के वर्चस्व को स्वीकार किया।
प्रवक्ता बनते ही मोहन सिंह ने अमर से राज्य सभा सीट छोड़ने को कह दिया। अमर सिंह ने इसे उनकी निजी मांग करार दी, तो उन्हांेने पार्टी के प्रवक्ता की हैसियत का हवाला देते हुए उसे पार्टी और मुलायम की इच्छा का जामा पहना दिया। यह सच भी है। मुलायम सिंह द्वारा अपने पार्टी प्रवक्ता के बयान से असहमति नहीं जताने का मतलब यही है कि वे भी वैसा ही सोचते हैं।
अमर सिंह बार बार यह कह रहे हैं कि वे मुलायम के खिलाफ कुछ नहीं बोलेंगे। लेकिन उनके खिलाफ कुछ बोले बिना भी वे उनके खिलाफ बहुत कुछ बोल चुके हैं और बोल रहे हैं। समाजवादी पार्टी में परिवारवाद की जिक्र मुलायम के खिलाफ किया गया जिक्र ही माना जाएगा, क्योंकि परिवारवाद के लिए सिर्फ और सिर्फ मुलायम सिंह ही जिम्मेदार हैं।
अमर सिंह ने मुलायम पर उनके जैसे घायल अपनी सेना के एक सिपाही को पीछे छोड़ देने का भी आरोप लगा दिया है। ऐसा करके उन्होंने जाहिर कर दिया है कि उनकी नाखुशी मुलायम के भाई अथवा किसी अन्य से नहीं है, बल्कि खुद सपा अध्यक्ष से ही है।
मुलायम सिंह के बेटे अखिलेश को उनके संसदीय क्षेत्र कन्नौज से उनके खिलाफ चुनाव लड़ने की चुनौती देकर अमर ने प्रत्यक्ष तौर से मुलायम सिंह को ही ललकार दिया है। यह चुनौती राज्य सभा से इस्तीफा मांगे जाने के बाद दी गई। अमर से इस्तीफे की मांग सपा के नवनियुक्त प्रवक्ता महासचिव मोहन सिंह ने की थी। मोहन सिंह खुद भी लोकसभा के सदस्य हैं।
यहां काबिले गौर यह है कि अमर ने मोहन सिंह को उनके लोकसभा क्षेत्र देवरिया से चुनाव में हराने की बात नहीं की, बल्कि कन्नौज से मुलायम के बेटे अवधेश को हराने की बात कही। जाहिर है कि अमर को पता है कि मोहन सिंह मुलायम की ओर से उनपर हमला कर रहे हैं। इसलिए उन्होंने भी जवाबी शब्द वाण मुलायम की ओर ही छोड़े हैं। अखिलेश पर हमला कर उन्होंने मुलायम सिंह यादव पर ही हमला बोल दिया है।
इस तरह मुलायम और अमर सिंह के बीच जंग छिड़ गई है। यह जाहिर हो गया है कि बमर सिंह का इस्तीफा स्वास्थ्य कारणों से प्रेरित नहीं था, हालांकि अमर सिंह का स्वास्थ्य वास्तव में नाजुक है। आने वाले दिनों में मुलायम को और भी अमर के शब्द वाणों का सामना करना पड़ सकता है। (संवाद)
भारत: राजनीति
अमर और मुलायम के बीच छिड़ी जंग
अमर ने दागे मुलायम पर शब्दवाण
उपेन्द्र प्रसाद - 2010-01-30 18:26
नई दिल्लीः अब अमर सिंह और मुलायम सिंह यादव के बीच ठन गई है। कहने को तो मुलायम अमर के खिलाफ कुछ नहीं बोल रहे और उन्हें बीते दिनों की चीज मान रहे हैं, लेकिन उन्होंने अमर सिंह के धुर विरोधी मोहन सिंह को उनकी जगह पार्टी का प्रवक्ता महासचिव बनाकर अपनी मंशा जता दी हैं।