पूंजी बनाम मेहनतकश
आर्थिक विकास में श्रमशक्ति की भागीदारी घटती जा रही है
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2022-04-29 13:21
हम आज वर्गों में बंटे समाज के इतिहास के एक नये अध्याय में प्रवेश कर रहे हैं। ऐसे समाज को आगे बढ़ाने वाली बुनियादी ताकतों में मजदूर का नाम सबसे पहले आता है। उनकी मेहनत से ही पूंजीपति के पास अतिरिक्त मुनाफा आता है जिससे पूंजीवादी समाज विकसित होता है। आर्थिक विकास के क्रम में आधुनिक समाज श्रम शक्ति को प्राथमिक और अनिवार्य तत्व के रूप में स्वीकार करता है। पूंजीवादी समाज की जड़ों में इसी अन्याय की ताकत पर विकास होता है। लेकिन आश्चर्य की बात ये है कि पूंजीवादी समाज आज मेहनतकशों पर निवेश करने में कोई दिलचस्पी नहीं रखता। श्रम शक्ति की इस उपेक्षा से पूंजीवादी समाज का संकट आज गहराता जा रहा है।