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चक्रवात फेट की आशंका को देखते हुए एनडीआरएफ के आठ दल तैनात

विशेष संवाददाता - 2010-06-03 12:04
नयी दिल्ली : भारतीय मौसम विभाग की सूचना के अनुसार पूर्व मध्य और पश्चिम मध्य अरब सागर पर 31 मई, 2010 को प्रात: 11.30 बजे दबाव का क्षेत्र बना हुआ था। इसने उत्तर पूर्वी दिशा में बढत़े हुए पहली जून, 2010 को गहरे दबाव का रूप धारण कर लिया। इसके बाद यह 2 जून, 2010 को तीव्र चक्रवाती तूफान फेट के रूप में जोर पकड़ गया। यह मुम्बई के पश्चिम में लगभग 1350 किलोमीटर पर, गुजरात में नाल्ल्या (कच्छ) के दक्षिण पश्चिम में 1050 किलोमीटर पर, कराची (पाकिस्तान) के दक्षिण-पश्चिम में 120 किलोमीटर पर और सुर ओमान के दक्षिण-दक्षिण पूर्व में 450 किलोमीटर पर उत्तर में 18.5 डिग्री अक्षांश और पूर्व में 60.0 डिग्री रेखाश के निकट आज रात 02.30 बजे (भारतीय समय) पर केन्द्रित रहा।

कविगुरू रबीन्द्रनाथ ठाकुर

नीरेन्द्र देव - 2010-06-03 11:59
कविगुरु रबीन्द्रनाथ ठाकुर ने साहित्य के क्षेत्र में अपनी जन्मभूमि बंगाल में शुरूआती सफलता प्राप्त की । वह साहित्य की सभी विधाओं में सफल रहे किन्तु सर्वप्रथम वह एक महान कवि थे । अपनी कुछ कविताओं के अनुवादों के साथ वह पश्चिमी देशों में भी प्रसिद्ध हो गए । कविताओं की अपनी पचास और अत्यधिक लोकप्रिय पुस्तकों में से मानसी (1890)/(द आइडियल वन), सोनार तरी(1894) (द गोल्डेन बोट) और गीतांजलि (1910) जिस पुस्तक के लिये उन्हें वर्ष 1913 में साहित्य के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

भारत का आर्थिक परिदृश्य

अशोक हाँडू - 2010-06-03 11:54
हाल ही में समाप्त हुआ वित्त वर्ष 2009-10 भारत के लिए एक ऐसा कठिन समय रहा है जब देश को भी वैश्विक आर्थिक संकट के प्रभाव को झेलना पड़ा। ऐसे कठिन समय में जो चीज भारत के काम आयी, वह थी भारत का मजबूत आर्थिक आधार। परन्तु इसके बावजूद भी भारत पूरी तरह से इस मंदी के प्रभाव से बच नहीं सका। भारत के पक्ष में यह बात जरूर जाती है कि जहां विश्व की बड़ी-बड़ी अर्थव्यवस्थायें, नकारात्मक (त्रऽणात्मक) आर्थिक विकास की गर्त में समा गई वहीं भारत में आर्थिक विकास की दर सम्मानजनक स्तर पर बनी रही। अंतिम आँकड़े अभी तो उपलब्ध नहीं हैं, परन्तु इस बात के स्पष्ट संकेत हैं कि इस अवधि में हमारी विकास दर 7.2 प्रतिशत की रहेगी।

पश्चिम बंगाल: नगर निकायों के चुनावों ने ममता ने बाजी मारी

विधानसभा के चुनावी गठबंधन में कांग्रेस पर तृणमूल रहेगी हावी
अमूल्य गांगुली - 2010-06-03 11:34
पश्चिम बंगाल के नगर निकायों के चुनाव परिणामों ने ममता बनजीै को सही साबित कर दिखाया है। दूसरे दृष्टिकोण से देखें तो यह भी कह सकते हैं कि उनका निर्णय शायद गलत भी था। ममता सही साबित हुईं, क्योंकि उन्होने कबना कांग्रेस की सहायता के ही वाम मोर्चा को पराजित कर डाला। उन्होंने कांग्रेस को दिखा दिया कि वह अकेली भी चुनाव जीत सकती हैं। उनका निर्णय इसलिए गलत माना जा सकता है कि यदि कांग्रेस के साथ मिलकर वह लड़ी होतींए तो वाम दलों का चुनावों में सिर्फ हार ही नहीं मिलती, बल्कि उनका पूरा चुनावी सफाया हो जाता।

श्री चिदम्बरम ने राज्यों में पुलिस प्रशिक्षण संस्थाओं की क्षमता और भर्ती दुगुनी करने को कहा

विशेष संवाददाता - 2010-06-02 12:37
नयी दिल्ली : केन्द्रीय गृह मंत्री श्री पी. चिदम्बरम ने राज्यों में पुलिस प्रशिक्षण संस्थानों की क्षमता और हर वर्ष भर्ती किए जाने वाले पुलिस के जवानों और महिलाओं की संख्या दुगुनी करने को कहा है। वे आज प्रात: रायपुर में 40वीं अखिल भारतीय पुलिस विज्ञान कांग्रेस के उद्घाटन समारोह में बोल रहे थे।

माओवादी और तालिबान: बहुत समानता है दोनो में

अमूल्य गांगुली - 2010-06-02 12:31
भारत के माओवादी अब तालिबान आतंकवादियों की तरह नागरिकों पर भी हमले करने लगे हैं। पहले उनके बारे में कहा जाता था कि वे पुलिस और सुरक्षा बलों पर ही हमले करते हैं। इसके अलावा वे पुकलस के मुखबिरों को भी मारते हैं। उनके बारे में कहा जाता रहा हे कि वे नागरिकों को अपना निशाना नहीं बनाते, लेकिन दांतेबाड़ा में एक यात्री बस और झारग्राम में एक ट्रेन को दुर्घअना ग्रस्त करवा कर उन्होंने अपना नया रूप दिखाया है। उनका यह नया रूप तालिबान से मेल खाता है।

भारतीय रेलवे का शक्ति स्तंभ - डीजल लोकोमोटिव वर्क्स

हरीश कंवर - 2010-06-01 09:58
रेल मंत्रालय के अंतर्गत वाराणसी में स्थित निर्माण इकाई डीजल लोकोमोटिव वर्क्स (डीएलडब्ल्यू), दुनिया की उन चुनिंदा फैक्ट्रियों में से एक है जिसे सही मायने में समेकित डीजले लोकोमोटिव विनिर्माण संयंत्र कहा जा सकता है। संपूर्ण इंजन, अंडरफ्रेम, सुपर स्ट्रक्चर, फ्रैब्राीकेटेड डिब्बे और 2000 से अधिक उपकरण यहां एक छत के नीचे प्लेट, धातु की चादर और पाइप जैसी निर्माण सामग्रियों से तैयार होते हैं। डीएलडब्ल्यू ने 2009-10 के दौरान 258 इंजन तैयार किए जबकि 2002-03 में इसने 112 इंजन ही तैयार किए थे।

झारखंड का राजनैतिक अनिश्चय: कांग्रेस ने सरकार क्यों नहीं बनाई

उपेन्द्र प्रसाद - 2010-06-01 09:47
नई दिल्लीः झारखंड एक बार फिर वहीं खड़ा है, जहां वह 5 महीने पहले खड़ा था। 11 महीने के राष्ट्रपति शासन के बाद मुश्किल से सोरेन की सरकार बनी थी। वह गिरी और फिर कोई दूसरी सरकार बन नहीं सकी। विधानसभा चुनाव के बाद किसी को बहुमत मिला ही नहीं था और बिना बहुमत के श्री सोरेन अपन सरकार बनाने की जिद पर अड़े थे। उनकी उस जिद का फायदा उठाकर भाजपा उनके साथ गठबंधन की सरकार में आ गई और फिर उसने 5 महीने के बाद समर्थन वापस ले लिया और सरकार से बाहर हो गई।

स्वदेशी हल्का लड़ाकू हैलिकाप्टर: रक्षा क्षेत्र में भारत की एक और उपलब्धि

सुरेश प्रकाश अवस्थी - 2010-05-31 12:00
रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने की दिशा में भारत ने एक और कदम मजबूती से रखा है । रविवार 23 मई 2010 को बेंगलुरू में हिन्दुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड की हवाई पट्टी पर देश में बने हल्के लड़ाकू हैलिकाप्टर (एलसीएच) के हवा में पहली उड़ान भरने के साथ ही भारत दुनिया के उन गिने चुने देशों में शामिल हो गया जिनके पास इस तरह के हैलिकाप्टर बनाने की क्षमता है। इसे रक्षा उत्पादन क्षेत्र में भारत की एक महत्वपूर्ण उपलब्धि माना जा रहा है । करोड़ों भारतीयों का सिर उस समय गर्व से ऊंचा हो गया जब इस हैलिकाप्टर ने बेंगलूरू के आकाश में 20 मिनट तक अपने हैरत अंगेज करतब दिखाये और अपनी अद्भुत युद्धक क्षमता का परिचय दिया।

गोरखा जनमुक्ति मोर्चा ने दिखाया अपना फासीवादी चेहरा

केन्द्र सरकार को अपनी रणनीति के बारे में फिर से सोचना होगा
आशीष बिश्वास - 2010-05-31 11:57
कोलकाताः गोरखा जनमुक्ति मोर्चा जिस रास्ते पर चल रहा है वह सुभाष धिसिंग के गोरखा नेशनल लिबरेशन फ्र्रट का रास्ता है। आज सुभाष धिसिंग और उनकी पार्टी को कौन जानता है? पिछले दिनों जो घटना घटी, उससे यही लगता है कि घिस्रिग की पार्टी की तरह ही गोरखा जनमुक्ति मोर्चा इतिहास के कूडे़दान में दिखाई देगी, क्योंकि इस तरह के फासीवादी संगठन का यही हश्र होता है।